नई दिल्ली : सिरसा स्थित डेरा सच्चा के प्रमुख और साध्वी के साथ दुष्कर्म के मामले में बाबा राम रहीम को 10 साल की सजा सुनाई गई है। साध्वी यौनशोषण मामले में राम रहीम को 25 अगस्त को दोषी करार दिया गया था।
बता दें कि बाबा को सजा देने के लिए रोहतक की जेल में स्पेशल कोर्ट लगाई गई। सजा के बाद बाबा कोर्ट के फर्श पर लेट गया है। बाबा कह रहा है मैं कहीं नहीं जाऊंगा यहीं मरूंगा। कोर्ट ने दोनों पक्षों के वकीलों को जिरह करने के लिए 10-10 मिनट का समय दिया। सबसे पहले CBI के वकील ने कोर्ट में अपना पक्ष रखते हुए अधिक से अधिक सजा की मांग की। वहीं बचाव पक्ष के वकील ने कहा कि बाबा समाजसेवी हैं, उन्होंने लोगों के लिए काम किया है। बाबा राम रहीम भी कोर्ट के आगे रो पड़े और माफ करने को कहा।
CBI के स्पेशल जज जगदीप सिंह ने राम रहीम को सजा सुनाई। सजा सुनते ही राम रहीम का चेहरा पीला पड़ गया।
सजा सुनाए जाने के बाद राम रहीम का कैदी नंबर चेंज होगा। अभी तक वह कैदी नंबर 1997 था। उसे अब कैदियों वाले कपड़े पहनने होंगे। उसे जेल मैनुअल के हिसाब से काम भी करना होगा। लेकिन अभी ये साफ नहीं है कि राम रहीम को रोहतक जेल में ही रखा जाएगा या कहीं और शिफ्ट करेंगे।
इस बीच उनकी अरबों रुपये के साम्राज्य के उत्तराधिकारी को लेकर डेरे के भीतर और बाहर चर्चाएं जोरों पर हैं। राम रहीम की दो बेटियां अमरप्रीत कौर इंसां, चरनप्रीत कौर इंसां और एक बेटा जसमीत सिंह इंसां हैं। इसके अलावा गुरमीत ने एक अन्य युवती को बेटी के तौर पर गोद ले रखा है, जिसका नाम है हनीप्रीत इंसां। डेरे से जुड़े लोगों की मानें तो अरबों रुपये के साम्राज्य पर हनीप्रीत का दावा सबसे मजबूत है। इसकी वजह यह है कि हनी डेरे के कामकाज में राम रहीम के काफी करीब रही हैं।