कानपुर। बेटे की चाहत में लोग किस कदर हैवान हो जाते है, ये बानगी कानपुर में देखने को मिली, जब एक पति ने बेटे की चाहत में अपनी पत्नी के नाजुक अंग को तेज़ाब से जला डाला, और वो इलाज ना करा पाए, इसको लेकर अपनी पत्नी को चार दिन से कमरे में कैद करके रखा, महिला की बेटी ने इसकी सूचना अपने ननिहाल में दी तो मायके वालो ने महिला को कानपुर के हैलट अस्पताल में भर्ती कराया, जंहा उसका इलाज चल रहा है, महिला को 5 बेटियां पहले से है और वो फिर गर्भवती है ।
कानपुर के कैंट थाना क्षेत्र में रहने वाली रेशमा के पिता यासीन ने अपनी बेटी का निकाह 15 साल पहले लखनऊ में रहने वाले नसीम से की थी, मगर यासीन को ये नहीं पता था कि उसकी बेटी के साथ उसी का पति उसे इस हाल में पहुंचा देगा, वो भी एक बेटे की चाहत में.
पीड़ित रेशमा के भाई शाहनवाज के अनुसार उसके जीजा नसीम लखनऊ में ही एक ट्रेवेल्स एजेंसी चलाते है। शादी के बाद बेटे की चाहत में रेशमा को 5 बेटियां हो गयी, दो बेतिओ तक तो सब ठीक था, मगर तीसरी बेटी होने के बाद से उसके जीजा नसीम उसकी दीदी को प्रताड़ित करने लगे, और देखते ही देखते दीदी को पांच बेटियाँ हो गयी
उधर रेशमा के मुताबिक़ वो तीन बेटियों के बाद कोई बच्चा नहीं चाहती थी, मगर उसके पति ने उसकी एक ना सुनी, और बेटे की चाहत में वो एक बार फिर गर्भवती हो गयी, मगर इसबार नसीम ने रेशमा से गर्भ में पल रहे मासूम का लिंग परिक्षण करवाने के लिए कहा, मगर रेशमा ने इनकार कर दिया, इससे गुस्साए नसीम ने ना केवल मारा पीटा बल्कि उसका गर्भपात कराने की धमकी भी दी. बावजूद इसके रेशमा ने लिंग परिक्षण करवाने से इनकार कर दिया।
जब रेशमा ने नसीम की बात नही मानी तो नसीम ने पहले उसको बुरी तरह से मारा पीटा फिर नसीम ने रेशमा को धमकी देते हुए कहा अब तू कभी बच्चा पैदा करने लायक नही रहेगी, और उसके नाजुक अंगो पर तेज़ाब डाल दिया। तेज़ाब पड़ने से रेशमा चीखने चिलाने लगी तो नसीम ने उसको कमरे में बंद कर दिया। बंद कमरे में रेशमा चार दिन तक तड़पती रही।
अपनी माँ को तड़पता देख रेशमा की बड़ी बेटी तायबा ने किसी तरह फोन करके अपने नाना को सूचना दी, अपनी बेटी का हाल सुनते ही रेशमा के पिता और भाई बुधवार को लखनऊ पहुंचे, और अपनी बेटी और नातनियों को लेकर देर रात कानपुर आ गए, जहा कानपुर के हैलट अस्पताल में उसे इलाज के लिए भर्ती कराया।
उधर डॉ सिद्धार्थ की माने तो रेशमा का नाजुक अंग बुरी तरह से झुलस गया है, मगर रेशमा के गर्भ में पल रहा बच्चा पूरी तरह से सुरक्षित है