भोपाल , मध्यप्रदेश : लोकसभा चुनाव के नतीजे भले ही 23 मई को आएंगे लेकिन एग्जिट पोल के अनुमानों में एक बार फिर केंद्र में भाजपा सरकार आने के बाद मध्यप्रदेश की सियासत गरमा गई है। भाजपा जो लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान लगातार दावा कर रही थी कि लोकसभा चुनाव के बाद मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार गिर जाएगी वो अब और हमलावर हो गई है।
नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने कमलनाथ सरकार के भविष्य पर सवाल उठाते हुए कहा है कि वो राज्यपाल को पत्र लिखकर एक सप्ताह के अंदर विधानसभा का सत्र बुलाने की मांग करेंगे। गोपाल भार्गव ने कहा कि उनका दायित्व है कि वो सरकार की कमियों को लेकर जनता के सामने जाएं। झूठे वादे कर कमलनाथ सरकार आ तो गई लेकिन एक भी वादे को पूरा नहीं किया, ऊपर से आज प्रदेश की कानून व्यवस्था पूरी तरह ध्वस्त हो गई है।
गोपाल ने कहा कि वो राज्यपाल को पत्र लिखकर एक सप्ताह के अंदर विधानसभा सत्र बुलाने की मांग करेंगे, क्योंकि सत्र में सरकार की शक्ति परीक्षा हो जाएगी, उन्हें भरोसा है कि सरकार ज्यादा दिन नहीं चलेगी, कब गिर जाए इसका किसी को भरोसा नहीं है। वहीं उन्होंने आरोप लगाया है कि सरकार सत्र टालने की कोशिश कर रही है।
कांग्रेस का पलटवार : वहीं गोपाल भार्गव के बयान पर पलटवार करते हुए कांग्रेस के मीडिया समन्वयक नरेंद्र सलूजा ने ट्वीट करते हुए लिखा कि गोपाल भार्गव जी, अभी 23 मई का इंतज़ार करिए। उसके बाद आपकी पार्टी के ही विधायक, नेता, प्रत्याशी आपके ख़िलाफ़ विरोध का बिगुल बजाने वाले हैं। आपके पद पर ही संकट आने वाला है।
अपने विधायकों को भी संभाल कर रखिए 109 में से कई …..संपर्क में हैं। इससे पहले भाजपा महासिचव कैलाश विजयवर्गीय भी कमलनाथ सरकार के भविष्य पर सवाल उठा चुके हैं।