लोकसभा चुनाव में जम्मू-कश्मीर के लोगों के वोट डाले जाने के बीच पाकिस्तान ने आज कहा कि राज्य में कोई चुनाव जनमत संग्रह का विकल्प नहीं है। पाकिस्तान के विदेश विभाग की प्रवक्ता तसनीम असलम से पूछा गया कि क्या जम्मू-कश्मीर में चुनाव जनमत संग्रह का एक विकल्प है, इसके जवाब में उन्होंने कहा, ‘बिल्कुल नहीं।’
तसनीम असलम ने कहा कि यह संयुक्त राष्ट्र का रुख है कि कश्मीर में कोई भी चुनाव उनके आत्मनिर्णय के अधिकार के इस्तेमाल का विकल्प नहीं है। उन्होंने पाक जर्नलिस्ट हामिद मीर की हत्या की कोशिश की भारतीय मीडिया कवरेज और इससे जुड़े विवाद की भी आलोचना की।
तसनीम ने कहा कि उन्हें नहीं लगता कि कराची में जो कुछ हुआ, उसे यहां या यहां के बाहर का कोई व्यक्ति माफ कर देगा। हम हामिद मीर पर हमले की निंदा करते हैं। हम उनके शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करते हैं। जहां तक नकारात्मक रिपोर्टिंग की बात है, बेशक, पाकिस्तान के खिलाफ दुष्प्रचार करने की प्रवृति है और इससे हमें आश्चर्य नहीं है।
इस बीच, मीडिया के एक धड़े में भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के बारे में आई खबरों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘मैं ऐसी किसी यात्रा से अवगत नहीं हूं।’ खबरों में बताया गया था कि मोदी ने पीएमएल-एन सरकार के साथ संबंधों में मधुरता लाने के लिए अपने करीबी सहयोगियों को इस्लामाबाद भेजा था। उन्होंने इन खबरों को बेबुनियाद भी बताया और कहा कि इस दुष्प्रचार में शामिल लोगों को पहले अपने अंदरूनी मामलों को देखना चाहिए।
कल दर्ज की गई शिकायत में मंत्रालय ने कहा है कि जियो न्यूज चैनल पर शुरू में एक विद्वेषपूर्ण, निंदात्मक और कुत्सित अभियान आरंभ किया गया, जहां आईएसआई और इसके प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल जहीरूल इस्लाम के खिलाफ झूठे आरोप लगाए गए। शिकायत में कहा गया है, ‘फुटेज विदेशी मीडिया ने प्राप्त कर ली, खासतौर पर भारतीय चैनलों ने। उन्होंने घटना की निष्पक्ष रिपोर्टिंग करने की बजाय इसे (फुटेज) बार बार दिखाया।’
उन्होंने इस घटना की भारतीय मीडिया द्वारा कथित तौर पर नकारात्मक कवरेज के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में यह बात कही। इस बीच, पाकिस्तान रक्षा मंत्रालय द्वारा यहां इलेक्ट्रानिक विनियामक प्राधिकरण के समक्ष दर्ज कराई गई शिकायत में भी भारतीय मीडिया का जिक्र किया गया है।