महाराष्ट्र में सरकार बनाने को लेकर बीजेपी और शिवसेना के बीच पर्दे के पीछे बात चल रही है। सूत्रों के अनुसार शिवसेना ने बीजेपी को 1995 के फार्मूले के तौर पर प्रस्ताव भेजा था। लेकिन बीजेपी ने इस प्रस्ताव को यह कहते हुए ख़ारिज कर दिया कि हम 2:1 का फार्मूला चाहते हैं। शिवसेना ने अपने प्रस्ताव में पीडब्ल्यूडी, सिंचाई मंत्रालय, वित्त मंत्रालय और गृह मंत्रालय की मांग की थी।
सूत्रों के हवाले से खबर है कि दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन को लेकर माथापच्ची जारी है। शिवसेना के फॉर्मूले से इतर बीजेपी ने 2:1 के फॉर्मले की बात की है। बीजेपी का फॉर्मूला जीते गए सीटों के आधार पर है, वहीं शिवसेना चाहती है कि उसे उपमुख्यमंत्री, गृह मंत्रालय, वित्त, पीडब्लूडी, सिंचाई मंत्रालय दिया जाए। 1995 में भी दोनों दलों के गठबंधन में कई मंत्री पद शिवसेना को मिले थे।
2009 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी और शिवसेना में महज 7 सीटों का अंतर था, लेकिन इस चुनाव के बाद ये अंतर बढ़कर दोगुना हो गया है। इस समय बीजेपी के पास 123 सीटें हैं। भाजपा का कहना है कि उसको 7 निर्दलीय के अलावा 3 अन्य विधायकों के समर्थन का आश्वासन भी मिल चुका है। यही कारण है कि बीजेपी ने शिवसेना को 2:1 का प्रस्ताव दिया है।
बीजेपी चाहती है कि सीटों का बंटवारा जीत के अनुपात के आधार पर हो। हालांकि, सरकार बनाने की बात को लेकर दोनों दलों के बीच चर्चा जारी है। इसमें किसी नए फार्मूले पर सहमति बनने के आसार हैं। बाताया जाता है कि ये सारी कवायद भाजपा के पर्यवेक्षक एवं केन्द्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह के मुंबई पहुंचने से पहले अंदरूनी तौर पर पूरी कर ली जाएगी।