BJP अध्यक्ष अमित शाह के भड़काऊ भाषण मामले में नया मोड़ आ गया है। मुजफ्फरनगर कोर्ट ने बुधवार को दाखिल की गई पुलिस की चार्जशीट को लौटा दिया है। इस मामले में पहले तो पुलिस ने चार्जशीट में धाराएं बढ़ा दी और फिर कोर्ट में दाखिल करते समय बढ़ाई गई धाराओं को हटा दिया।
दरअसल बुधवार को पुलिस ने अमित शाह के खिलाफ ACJM-3 की कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की थी, जिसमें अमित शाह के खिलाफ 188, 123 (3) के तहत चार्जशीट दाखिल की गई थी। गुरुवार को कोर्ट ने इस चार्जशीट को ये कहकर वापस कर दिया कि पुलिस ने 173/2 CRPC के तहत कार्रवाई नहीं की, यानी कि आरोपी को हिरासत में नहीं लिया गया या आरोपी को हिरासत में लेने और कोर्ट में पेश करने की कोशिश नहीं की गई।
दूसरा ऑब्जेक्शन कोर्ट ने ये लगाया कि धारा 188 की शिकायत मजिस्ट्रेट द्वारा होनी चाहिए थी। गौरतलब है कि बुधवार को डीएसपी नई मंडी ने मीडिया के सामने बयान दिया था कि अमित शाह के मामले में जांच के दौरान जांच अधिकारी द्वारा अमित शाह पर 153 A, 505, 295 धाराएं बढ़ाई गई हैं।
यहाँ यह सोचने वाली बात है कि जब कोर्ट में बुधवार को अमित शाह के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की गई तो ये धाराएं उसमें से गायब थीं। केवल दो धाराएं ही चार्जशीट में थी। बहरहाल अब देखना ये होगा कि पुलिस इस मामले में आगे क्या करती है। दरअसल, लोकसभा चुनाव के दौरान अमित शाह ने मुजफ्फरनगर के शामली में कई जगह जनसभाएं की थीं। इस दौरान अमित शाह पर आपत्तिजनक भाषण देने के आरोप लगे थे।
अमित शाह इन दिनों कोलकाता में हैं। उन्होंने वहां काली माता के दर्शन किए और ट्विटर पर इसकी तस्वीर भी साझा की। मुजफ्फरनगर सहित शामली और बिजनौर में भी इनके खिलाफ मुकदमे दर्ज किए गए थे. मुजफ्फरनगर के थाना नई मंडी क्षेत्र के एक हॉल में अमित शाह ने 4 अप्रैल, 2014 को एक जनसभा को संबोधित किया था। आरोप है कि अमित शाह ने इसमें आपत्तिजनक भाषण दिया था, जिसकी वीडियो क्लिप के आधार पर 12 अप्रैल को थाना नई मंडी पुलिस ने अमित शाह के खिलाफ मामला दर्ज किया था।