भाजपा उम्मीदवार बाबुल सुप्रियो के पक्ष में प्रचार करने पहुंचे मोदी ने चुनाव आयोग को उसकी जिम्मेदारियां भी याद दिलाई। कहा, निष्पक्ष चुनाव कराना आपकी जिम्मेदारी है, लेकिन आप कई क्षेत्रों में हिंसा नहीं रोक सके। मैं आपसे विनती करता हूं कि आप अपनी जिम्मेदारी सही दिशा में निभाएं। उन्होंने आरोप लगाया कि 30 अप्रैल को हुए चुनाव में लोकतंत्र का पालन नहीं किया गया। गौरतलब है कि सातवें चरण के मतदान में गुजरात के गांधीनगर में मोदी ने वोट डालने के बाद चुनाव चिन्ह दिखाया था, जिस पर आयोग ने उनके खिलाफ मामला दर्ज किया।
बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा खुद को ‘कागज का शेर’ कहे जाने पर मोदी ने बांकुड़ा की रैली में कहा, बंगाल का असली शेर यहां का युवा है। सारधा चिटफंड घोटाले पर चुनौती देते हुए कहा कि राजनीति का असली शेर वह है, जो सारधा आरोपियों को जेल भेजे और गरीबों का धन वापस लाए। उन्होंने जनता के दोनों हाथों में ‘रसगुल्ले’ होने की बात करते हुए कहा कि केंद्र में भाजपा की सरकार बनेगी तो दीदी को गंभीरता से सरकार चलानी पड़ेगी। तब मैं भी विकास करूंगा और दीदी भी। जनता के दोनों हाथों में रसगुल्ला होगा।
उत्तर प्रदेश के भदोही व इलाहाबाद जिले में मोदी ने अपने भाषण से स्पष्ट संकेत दिया कि वाराणसी से मैदान में उतरने के पीछे उनकी मंशा क्या है? भदोही में उन्होंने कालीन उद्योग का विकास ठप होने का मुद्दा उठाकर जनता के जख्मों को उभार दिया। इलाहाबाद की रैली में खुद को अभी से प्रधानमंत्री समझने के सोनिया गांधी के बयान पर चुटकी ली। कहा, मैडम सोनिया आपके मुंह में घी शक्कर। 16 मई को सारे राजनैतिक पंडितों का गणित गलत होने वाला है।
हाल में हिमाचल प्रदेश की रैली के दौरान मोदी द्वारा कारगिल शहीदों के स्लोगन ‘ये दिल मांगे मोर’ दोहराने पर सोनिया गांधी के आरोपों का जवाब देते हुए नमो ने कहा कि उन्हें आरोप लगाने के बजाए सम्मान से विदाई लेनी चाहिए। थ्री डी द्वारा चुनाव प्रचार के दौरान अमेठी में मोदी ने कहा, मैं जनता से मांगता हूं, इसलिए कहा-ये दिल मांगे मोर। लेकिन सोनिया की सरकार लूटती है, मांगती नहीं। ‘मोदी ने सुझाव के तौर पर चुनाव आयोग से शिकायत की है, जो कोई भी राजनेता करता है। वामदल