नई दिल्ली: राफेल लड़ाकू विमान प्रकरण से संबंधित एक मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद ‘चौकीदार चोर है’ टिप्पणी में शीर्ष अदालत का गलत हवाला देने के सिलसिले में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने शीर्ष अदालत से बुधवार को बिना शर्त माफी मांगी।
राहुल गांधी ने नए हलफनामे में न्यायालय से अपने कथन के लिए क्षमा याचना करने के साथ ही भाजपा सांसद मीनाक्षी लेखी द्वारा उनके खिलाफ दायर आपराधिक अवमानना याचिका बंद करने का भी अनुरोध किया।
राफेल मुद्दे को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधने के लिए गांधी ने कहा था कि अब तो शीर्ष अदालत ने भी कह दिया ‘चौकीदार चोर है।’
कांग्रेस अध्यक्ष ने तीन पन्ने के ताजा हलफनामे में कहा कि वह न्यायालय का बहुत सम्मान करते हैं। वह ऐसा कुछ भी नहीं करना चाहते थे जिससे न्यायिक प्रक्रिया में हस्तक्षेप हो।
कांग्रेस अध्यक्ष ने अपने हलफनामे में कहा कि गांधी गलत तरीके से अदालत का हवाला देने को लेकर बिना शर्त माफी मांगते हैं। वह यह भी कहते हैं कि उनके द्वारा दिया गया हवाला पूरी तरह बगैर किसी मंशा के अंजान में असावधानी वश हुआ।
हलफनामे में कहा गया है कि गांधी सम्मानपूर्वक न्यायालय से प्रार्थना करते हैं कि इस हलफनामे को स्वीकार किया जाए और अवमानना की मौजूदा कार्रवाई को बंद किया जाए। हलफनामा प्रामाणिक और न्याय के हित में है और कोई तथ्य छुपाया नहीं गया है।
राहुल गांधी के खिलाफ आपराधिक अवमानना याचिका दायर करने वाली भाजपा सांसद मीनाक्षी लेखी ने आरोप लगाया था कि कांग्रेस अध्यक्ष ने अपनी निजी टिप्पणी शीर्ष अदालत के नाम से की और पूर्वाग्रह की स्थिति पैदा करने का प्रयास किया।