चीन में लंबे समय से रह रही पूर्व रेडियो बीजिंग की हिन्दी की पूर्व उद्घोषक श्यामा बल्लभ का सोमवार को 76 साल की उम्र में निधन हो गया। श्यामा पिछले कुछ समय से बीमार चल रही थीं। उनके परिवार में उनके पति जानकी बल्लभ और दो बेटे अखिल और अतुल दलाकोटी हैं।
श्यामा 1958 में अपने पति के साथ बीजिंग आयी थीं। उनके पति जानकी हिन्दी भाषा के जाने माने विशेषज्ञ थे और उनका चीन के फॉरेन लैंग्वेज प्रेस (एफएलपी) के साथ पुराना नाता था। उन्होंने माओ त्से तुंग की रचनाओं का हिन्दी में अनुवाद किया था।
1962 के युद्ध से पहले श्यामा ने रेडियो बीजिंग में हिन्दी उदघोषक के तौर पर काम किया था और 1977 में वापसी के बाद उन्होंने हिन्दी में सचित्र कहानियां लिखीं जिसे एफएलपी ने प्रकाशित किया।
1962 के चीन-भारत युद्ध के दौरान संक्षिप्त अंतराल को छोड़कर जानकी (83) और श्यामा अधिकतर समय बीजिंग में ही रहे और एफएलपी एवं रेडियो बीजिंग के निए काम करते रहे। रेडियो बीजिंग का नाम बाद में बदलकर चाइना रेडियो इंटरनेशनल कर दिया गया। श्यामा उत्तराखंड की रहने वाली थीं।